एमबीपीजी कॉलेज हल्द्वानी में वैदिक साहित्य पर व्याख्यान माला का भव्य शुभारंभ
प्रथम दिवस पर वैदिक ज्ञान और विज्ञान के गहरे सरोकारों पर हुआ विचार मंथन
हल्द्वानी। एम.बी. राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय, हल्द्वानी के इतिहास विभाग की ओर से सोमवार को बीए, बीएससी और बीकॉम चतुर्थ सेमेस्टर के छात्र-छात्राओं के लिए वैदिक साहित्य पर आधारित व्याख्यान माला का शुभारंभ हुआ। यह व्याख्यान माला 7 अप्रैल से 12 अप्रैल तक चलेगी, जिसमें विद्यार्थियों को वैदिक ज्ञान की गहराइयों से रूबरू कराया जाएगा।
कार्यक्रम का उद्घाटन महाविद्यालय के प्राचार्य प्रो. एन.एस. बनकोटी ने किया। प्रथम दिवस के मुख्य वक्ता के रूप में नई दिल्ली के पीजीडीएवी कॉलेज के वरिष्ठ प्राध्यापक प्रो. गिरधर गोपाल शर्मा ने ‘वेदों में अग्नि, जल तथा विज्ञान की अवधारणाओं’ पर व्यापक व्याख्यान दिया। उन्होंने बताया कि किस प्रकार वैदिक साहित्य में अग्नि और जल को जीवन व प्रकृति का मूल आधार माना गया है और कैसे इनसे जुड़े सात रंग आज भी विज्ञान और समाज में गहरे अर्थ रखते हैं।
प्रो. शर्मा ने वेदों में औषधीय पौधों के महत्व, पूजा पद्धतियों की वैज्ञानिकता और वैदिक ज्योतिष की मानव जीवन पर स्थायी प्रभावों पर भी प्रकाश डाला। उन्होंने रसायन और कला क्षेत्र में वैदिक ज्ञान के अनुप्रयोगों को भी सरल भाषा में विद्यार्थियों के समक्ष प्रस्तुत किया।
कार्यक्रम में ऑफलाइन माध्यम से 160 और ऑनलाइन माध्यम से 40 छात्र-छात्राओं ने सक्रिय सहभागिता दिखाई। मंच संचालन डॉ. ज्योति टम्टा ने किया, जिनकी सधी हुई शैली ने आयोजन को प्रभावी बनाया।
इस अवसर पर इतिहास विभागाध्यक्ष डॉ. सुरेश टम्टा के साथ डॉ. राजेश कुमार, डॉ. विमला देवी, डॉ. महिपाल सिंह कुटियाल, डॉ. दिनेश कुमार, डॉ. देवेश सिंह गार्बियल, डॉ. प्रतिभा शाह और डॉ. विजयलक्ष्मी सहित तकनीकी सहायक आशीष कुमार भी उपस्थित रहे।
महाविद्यालय के प्राचार्य ने व्याख्यान माला को विद्यार्थियों के वैदिक ज्ञान से जुड़ने की दिशा में एक सार्थक पहल बताया और सभी छात्र-छात्राओं से इसमें बढ़-चढ़कर भागीदारी का आह्वान किया।


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