गुरुओं की वाणी हमारे जीवन का सबसे बड़ा मार्गदर्शन : गवर्नर
डोईवाला (प्रियांशु सक्सेना)। बैसाखी पर्व के उपलक्ष्य में श्रीगुरु सिंह सभा लंगर हॉल गुरुद्वारा डोईवाला में कार्यक्रम का आयोजन किया गया। रविवार को सुबह से ही गुरुद्वारे में श्रद्धालुओं की आस्था की भीड़ जुटने लगी थी। कार्यक्रम में रागी जत्था ने शबद कीर्तन से गुरु महिमा का बखान किया।
रविवार को राज्यपाल लेफ्टिनेंट जनरल (सेवानिवृत्ति) गुरमीत सिंह अपनी पत्नी गुरमीत कौर के साथ ऋषिकेश रोड़ स्थित लंगर हॉल गुरुद्वारा में पहुंचे और शब्द कीर्तन सुना। उन्होंने गुरुद्वारे में मत्था टेका और सुख-समृद्धि की कामना की। इसके साथ ही उन्होंने प्रदेशवासियों को बैसाखी पर्व की बधाई दी।
राज्यपाल के पहुंचने पर गुरुद्वारा प्रधान गुरदीप सिंह ने उनका स्वागत किया। प्रधान ने बैसाखी पर्व के ऐतिहासिक महत्व के बारे में जानकारी दी और बताया कि यह पर्व न केवल फसल कटाई का प्रतीक है बल्कि सिख धर्म में खालसा पंथ की स्थापना का दिन भी है।
गवर्नर गुरमीत सिंह ने गुरुओं की महिमा का उल्लेख करते हुए कहा कि गुरु गोबिंद सिंह जी ने अपने साहस और आध्यात्मिक नेतृत्व से समाज को एक नई दिशा दी। कहा कि गुरुओं की वाणी हमारे जीवन का सबसे बड़ा मार्गदर्शन है। उन्होंने कहा चारधाम यात्रा और हेमकुंड यात्रा का यह समय सभी के लिए दिव्यता, भव्यता, पवित्रता और आस्था के साथ पूजन एवं दर्शन का एक सुंदर अवसर है।
कार्यक्रम में पूर्व राज्यमंत्री नरेंद्र जीत बिंद्रा, करण बोरा, एसपी सिंह, सुरेंद्र खालसा, ताजेंद्र सिंह, ईश्वर अग्रवाल, नरेंद्र सिंह नेगी, मनोज नौटियाल, जसविंदर सिंह, इंद्रजीत सिंह, हरभजन सिंह, इंद्रजीत सिंह (लाडी), रंजोध सिंह, बलबीर सिंह, गुरदीप सिंह, प्रदीप बंगा, विजय बख्शी आदि थे।


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